नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि टीके को लेकर सरकार ने 1 मई से पहले जो पॉलिसी बनाई थी वो अब अमल में लाई जा रही है। 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के मौके से ये नई नीति लागू की जाएगी। केंद्र वैक्सीन कंपनियों से खुद 75 प्रतिशत टीके खरीदेगा। राज्यों को मुफ्त टीका उपलब्ध कराएगा। 25 प्रतिशत वैक्सीन की खरीद निजी अस्पताल कर सकेंगे। इसके साथ ही उन्होंने पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना को दीपावली तक आगे बढ़ाने की घोषणा कर दी। गरीबों को अब नवंबर तक मुफ्त अनाज मिलेगा। पीएम मोदी ने कहा कि ये संकट 100 सालों का सबसे अभूतपूर्व संकट था। लेकिन सरकार ने इससे लडऩे की हर संभव कोशिश की। ऑक्सीजन की कमी हुई तो देश में उत्पादन बढ़ाने के साथ विदेशों से मदद ली।
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना को अब दीपावली तक आगे बढ़ाया जाएगा। महामारी के इस समय में सरकार गरीब की हर जरूरत के साथ उसका साथी बनकर खड़ी है।
यानि नवंबर तक 80 करोड़ से अधिक देशवासियों को हर महीने तय मात्रा में मुफ्त अनाज उपलब्ध होगा। pic.twitter.com/Ospx5R80FT
— Narendra Modi (@narendramodi) June 7, 2021
दस गुना से ज्यादा ऑक्सीजन प्रोडक्शन बढ़ाया गया। दुनिया के हर कोने से जो कुछ मिल सकता था उसे लाया गया। जरूरी दवाओं के प्रोडक्शन को बढ़ाने के साथ विदेशों से दवा मंगाने के काम में कोई कसर नहीं छोड़ी। पीएम ने अपनी सरकार की तारीफ कर कहा कि एक साल में मेड इन इंडिया वैक्सीन लॉन्च करना बड़ी उपलब्धि है। भारत ने ये करके दिखाया कि वो बड़े-बड़े देशों से पीछे नहीं है। 23 करोड़ डोज लोगों को दी जा चुकी है।
पहले ही वैक्सीन टास्क फोर्स गठित की
पीएम ने कहा कि प्रयासों में सफलता तब मिलती है जब अपने पर विश्वास होता है। हमें पूरी तरह से पता था कि वैज्ञानिक वैक्सीन बना लेंगे। जब वैज्ञानिक वैक्सीन बना रहे थे तब सरकार ने लॉजिस्टिक को लेकर तैयारियां शुरू कर दी थीं। पीएम ने कहा कि सरकार ने पहले ही वैक्सीन टॉस्क फोर्स का गठन कर दिया था। (adsbygoogle = window.adsbygoogle || []).push({}); सरकार ने हर कदम पर वैक्सीन निर्माताओं के साथ खड़ी रही। आत्मनिर्भर भारत के साथ अन्य मदों से इसके लिए फंड मुहैया कराया। आज देश में सात कंपनियां विभिन्न वैक्सीन का उत्पादन कर रही हैं। वैक्सीन की उपलब्धता बढ़ाने के लिए दूसरे देशों से भी खरीद की जा रही है।
21 जून से 18 वर्ष से ऊपर के सभी नागरिकों के लिए भारत सरकार राज्यों को मुफ्त वैक्सीन मुहैया कराएगी।
किसी भी राज्य सरकार को वैक्सीन पर कुछ भी खर्च नहीं करना होगा। pic.twitter.com/VKK3oddw80
— Narendra Modi (@narendramodi) June 7, 2021
केन्द्र की देखरेख में चला वैक्सीनेशन कार्यक्रम
मोदी ने कहा कि भारत का वैक्सीनेशन कार्यक्रम केंद्र की देखरेख में ही चला। उनका कहना था कि लोग उत्साह से वैक्सीन की डोज लगवा रहे थे। कई राज्यों ने वैक्सीन पर सवाल उठाए और मीडिया में भी रिपोट्र्स आईं तो केंद्र ने तय किया कि राज्य अगर कुछ अपनी तरफ से करना चाहें तो क्या गलत है। इस वजह से केंद्र ने 25 प्रतिशत काम उन्हें सौंप दिया। 1 मई से राज्यों के हवाले वैक्सीन का काम किया गया। मोदी ने कहा कि जब परेशानियां बढ़ीं तो राज्यों ने अपने पैर पीछे खींचने शुरू कर दिए। अब केंद्र ने तय किया है कि 1 मई के पहले वाली पुरानी व्यवस्था को फिर से लागू किया जाए। दो सप्ताह में पूरी व्यवस्था लागू की जाएगी। 21 जून को योग दिवस के मौके पर देश के हर राज्य में 18 साल से ऊपर के सभी राज्यों को के लिए सरकार टीका उपलब्ध कराएगी। किसी राज्य को वैक्सीन खरीद के लिए कोई खर्च नहीं करना होगा। केंद्र सभी को मुफ्त वैक्सीन उपलब्ध कराएगी।
Some people thrive on creating panic and furthering vaccine hesitancy.
Such elements are doing a great disservice to the efforts to make our planet COVID-free. pic.twitter.com/uUYKy2lpj6
— Narendra Modi (@narendramodi) June 7, 2021
25 प्रतिशत वैक्सीन निजी अस्पतालों को मुहैया कराएंगे
पीएम ने कहा कि जो व्यक्ति निजी अस्पतालों में वैक्सीन लगवाना चाहते हैं उनके लिए वैक्सीन कंपनियां 25 प्रतिशत वैक्सीन निजी अस्पतालों को उपलब्ध कराएंगे। अस्पताल वैक्सीन की कीमत पर 150 रुपये तक ही सर्विस चार्ज ले सकेंगे। राज्य सरकारें उन पर निगाह रखेंगी।
पीएम ने कहा कि हर राज्य को पहले ही बताया जाएगा कि उसे कब कितनी डोज मिलेगी। लॉकडाउन में गरीब कल्याण अन्न योजना का जिक्र कर मोदी ने कहा कि मई-जून के लिए इस योजना का विस्तार किया था। लेकिन अब इसे दीपावली तक आगे बढ़ाया जाएगा। सरकार गरीब के साथ है। (adsbygoogle = window.adsbygoogle || []).push({}); नवंबर तक ये अनाज उपलब्ध कराया जाता रहेगा। वैक्सीन पर भ्रम को लेकर पीएम ने कहा कि जो लोग टीके पर आशंका पैदा कर रहे हैं, उन्हें देश देख रहा है। ऐसे लोग भोले भाले लोगों के जीवन के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। ऐसे लोगों से सतर्क रहने की जरूरत है। उनका कहना था कि कोरोना से लडऩे के लिए सबसे कारगर उपाय कोविड प्रोटोकॉल की पालना ही है। उन्होंने फिर से मंत्र दिया दवाई के साथ कड़ाई भी।
