नई दिल्ली. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने खाने-पीने के सामान को जीएसटी के दायरे में लाने पर केन्द्र सरकार को आड़े हाथों लिया है। उन्होंने सरकार हमला बोला और कहा कि ये ‘वसूलीसरकार’ है। राहुल ने कहा कि संसद में चर्चा और सवालों से भागना असंसदीय है। राहुल गांधी ने ट्वीट किया, रुपया पहुंचा 80 पार, गैस वाला मांगे रुपये हज़ार, जून में 1.3 करोड़ बेरोज़गार, अनाज पर भी जीएसटी का भार. जनता के मुद्दे उठाने से हमें कोई रोक नहीं सकता, सरकार को जवाब देना ही पड़ेगा. संसद में चर्चा और सवालों से भागना सबसे ‘असंसदीय’ है। प्रधानमंत्री जी.’ इससे पहले, कांग्रेस नेता एक फेसबुक पोस्ट में कहा, ‘अबकी बार, ‘वसूली’सरकार? अब से दूध, दही, मक्खन, चावल, दाल, ब्रेड जैसे पैक्ड उत्पादों पर जनता से 5 प्रतिशत जीएसटी वसूला जाएगा। राहुल गांधी ने कहा कि रोज़मर्रा की खाने-पीने की चीजें महंगी हो गईं है। सिलेंडर 1053 रुपये का हो गया, लेकिन सरकार कहती है सब चंगा सी। मतलब, यह महंगाई जनता की समस्या है, सरकार की नहीं।
रुपया पहुंचा 80 पार
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) July 19, 2022
गैस वाला मांगे ₹ हज़ार
जून में 1.3 करोड़ बेरोज़गार
अनाज पर भी GST का भार
जनता के मुद्दे उठाने से हमें कोई रोक नहीं सकता, सरकार को जवाब देना ही पड़ेगा।
संसद में चर्चा और सवालों से भागना सबसे 'असंसदीय' है, प्रधानमंत्री जी।
उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधते हुए दावा किया जब मोदी विपक्ष में थे, तब उन्होंने महंगाई को बड़ा मुद्दा बनाया था, लेकिन आज उन्होंने जनता को समस्याओं के गहरे दलदल में धकेल दिया है। जिसमें लोग रोज़ धंसते जा रहे हैं। उनकी इस बेबसी पर प्रधानमंत्री मौन हैं, खुश हैं और झूठ पर झूठ बोल रहे हैं। गांधी ने कहा कि सरकार की ओर से आप पर किए जा रहे हर अत्याचार के खिलाफ़ मैं और पूरी कांग्रेस पार्टी आपके साथ खड़ी है। इस मुद्दे को हम सदन में ज़ोर-शोर से उठाएंगे। प्रधानमंत्री चाहे जितने शब्दों को असंसदीय बता कर हमें चुप कराने की कोशिश कर लें, लेकिन जवाब तो उन्हें भी देना ही पड़ेगा। जीएसटी परिषद के फैसले लागू होने के बाद सोमवार से कई खाद्य वस्तुएं महंगी हो गईं है। इनमें पहले से पैक और लेबल वाले खाद्य पदार्थ जैसे आटा, पनीर और दही शामिल हैं। जिन पर पांच प्रतिशत जीएसटी देना होगा।