पौराणिक समाजवाद के प्रवर्तक, युग पुरुष, राम राज्य के समर्थक, महादानी महाराजा अग्रसेन जी के नाम पर हमने हिसार एयरपोर्ट का नाम रखने का फैसला लिया है। pic.twitter.com/uV5j3XEQYU
— Manohar Lal (@mlkhattar) July 26, 2021
(adsbygoogle = window.adsbygoogle || []).push({}); 7 हजार एकड़ जमीन रिजर्व
पौराणिक समाजवाद के प्रवर्तक, युग पुरुष, राम राज्य के समर्थक, महादानी महाराजा अग्रसेन जी के नाम पर हमने हिसार एयरपोर्ट का नाम रखने का फैसला लिया है। pic.twitter.com/uV5j3XEQYU
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हिसार एयरपोर्ट को दिल्ली एयरपोर्ट के विकल्प के तौर पर विकसित किया जा रहा है। इसके लिए 7 हजार एकड़ जमीन रिजर्व कर दी है। फिलहाल हिसार एयरपोर्ट से चंडीगढ़, धर्मशाला, देहरादून के लिए हवाई टैक्सी सेवा चल रही है। इसी कड़ी में एक उपलब्धि उस वक्त और जुड़ गई, जब मुख्यमंत्री मनोहरलाल ने इस एयरपोर्ट का नामकरण महाराजा अग्रसेन को समर्पित कर दिया। यह जानकारी सीएम ने ट्वीट कर दी है।
(adsbygoogle = window.adsbygoogle || []).push({}); द्वापर युग के अंत में हुए हैंं कल्याणकारी राजा अग्रसेन
इतिहास के अनुसार महाराजा अग्रसेन द्वापर युग के आखिरी समय में शौर वंश में पैदा हुए। वे वैश्य राजा थे। उनके राज्य की सीमाएं वर्तमान दिल्ली तक फैली हुई थीं और उन्होंने अग्रोहा को अपनी राजधानी बनाया था। महाराजा अग्रसेन द्वारा किए लोक कल्याणकारी कामों का आज तक गुणगान किया जाता है। अग्रसेन ने अपने राज में गरीबों की भलाई के लिए एक ईंट-एक रुपया मदद की योजना भी चलाई थी।
18 बेटों के नाम पर हैं अग्रवाल समाज के गोत्र
महाराजा अग्रसेन के 18 बेटे थे। उनके नाम पर अग्रवाल समाज के गोत्र बने हुए है इनमें ऐरन, बंसल, बिंदल, भंदल, धारण, गर्ग, गोयल, गोयन्का, जिंदल, कंसल, कुच्छल, मधुकुल, मंगल, मित्तल, नागल, सिंघल, तायल, तिंगल आदि हैं। फिलहाल हिसार में महाराजा अग्रसेन के नाम पर मेडिकल कॉलेज, नागरिक अस्पताल, अग्रसेन चौक, अग्रसेन भवन, अग्रसेन विकास ट्रस्ट आदि बने हुए हैं।
