जयपुर. राजस्थान के राजनैतिक गलियारों में बीते कई दिनों से अशोक गहलोत और सचिन पायलट सबसे ज्यादा चर्चा में हैं। चर्चाएं इसलिए है क्योंकि इन दोनों नेताओं के बीच मुख्यमंत्री की कुर्सी को लेकर तीन साल से खींचतान चल रही है। दोनों तरफ से बयानबाजी की जा रही है, लेकिन आपस का विवाद शीर्ष नेतृत्व के दखल के बाद भी शांत नहीं हो रहा है। बयानबाजी के बाद सचिन पायलट ने अपनी ही पार्टी की सरकार के मुखिया अशोक गहलोत के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए सड़कों पर आन्दोलन शुरू कर दिया। पहले अपनी ही पार्टी की सरकार के खिलाफ अनशन किया और बाद में जन आकोश यात्रा निकाली। सचिन पायलट के बगावती तेवरों को देखते हुए राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संयोजक और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने इशारों-इशारों में पायलट को बड़ा ऑफर दे डाला। बेनीवाल ने कहा कि सचिन पायलट गलत पार्टी में हैं। उन्हें पार्टी से बाहर आना चाहिए।
कांग्रेस भले ही पायलट को कुछ भी बनाने का ऑफर दे लेकिन…
आरएलपी के राष्ट्रीय संयोजक हनुमान बेनीवाल मीडिया से बात कर रहे थे। गहलोत-पायलट विवाद से जुड़े सवाल पर बेनीवाल ने कहा कि कांग्रेस और भाजपा दोनों भ्रष्टाचार में डूबी हुई पार्टियां हैं। कांग्रेस में रहते हुए पायलट ने करप्शन की बात उठाई। यह तो ठीक है लेकिन, पार्टी में रहकर वे कुछ नहीं कर पाएंगे। प्रदेश की जनता कांग्रेस और भाजपा के षड्यंत्र को जान गई है। कांग्रेस भले ही सचिन पायलट को कुछ भी बनाने का ऑफर देे लेकिन, जनता कांग्रेस को वोट देगी नहीं। इसी दौरान बेनीवाल ने यह भी कहा कि पायलट गलत पार्टी में है। उन्हें जल्द पार्टी से बाहर आना चाहिए। यही सही समय है।
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परिवहन घोटाले की जांच होती तो जेल में होते खाचरियावास: बेनीवाल
हनुमान बेनीवाल ने राजस्थान सरकार के कैबिनेट मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास पर भी भ्रष्टाचार के आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि प्रताप सिंह पहले सचिन पायलट के कट्टर समर्थक थे। जुलाई 2020 में वे अचानक पायलट को छोड़कर अशोक गहलोत के समर्थन में आ गए। सब जानते हैं कि अचानक उनका हृदय परिवर्तन कैसे हुआ। बेनीवाल ने कहा कि परिवहन मंत्री रहते हुए प्रताप सिंह खाचरियावास ने करोड़ों रुपये के घोटाले किए थे। जब मुख्यमंत्री ने घोटालों की फाइल मंगवाई तो प्रताप सिंह सचिन पायलट को छोड़कर गहलोत के पाले में आ गए। बेनीवाल ने दावा किया कि अगर परिवहन विभाग में हुए घोटाले की जांच होती तो प्रताप सिंह खाचरियावास जेल में होते।
