जयपुर. राजस्थान में सरकार से लेकर प्रशासन तक हड़कंप ब्लैकमनी को लेकर मचा हुआ है। जयपुर के योजना भवन की अलमारी में 2 करोड़ 31 लाख रुपये और भारी मात्रा में सोना मिलने के बाद सरकार के कान खड़े हो गए हैं। सरकार ने इस मामले में आरोपी सूचना एवं तकनीक विभाग के ज्वॉइंट डायरेक्टर वेद प्रकाश यादव को सस्पेंड भी कर दिया है। यादव ने ही इस रिश्वत को योजना भवन की अलमारी में रखा था। इस मामले का खुलासा उस समय हुआ जब पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज में यादव को अलमारी में कैश रखते देख लिया। इसके बाद पुलिस ने आरोपी को हिरासत में लेकर एंटी करप्शन ब्यूरो को सौंप दिया था। यादव वर्तमान में यहां के स्टोर इंचार्ज भी थे।
हाल ही में इस मामले की जांच के बाद पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने बताया था कि योजना भवन के बेसमेंट की अलमारी में मिले दो करोड़ 31 लाख रुपये और गोल्ड डीओआईटी के जॉइंट डायरेक्टर वेद प्रकाश का है। उन्होंने बताया कि इस बात का पता लगाने के लिए पुलिस ने यहां लगे सीसीटीवी कैमरे के तीस दिन के फुटेज देखे हैं। इसमें दिखाई दिया कि ज्वॉइंट डायरेक्टर वेदप्रकाश यादव बेसमेंट की इस अलमारी में रुपये रख रहा है। पुलिस ने जब शुरुआत में यादव को हिरासत में लेकर पूछताछ की थी तो उसने ये रकम और गोल्ड उसका होने से इनकार किया था। इसके बाद जब उसे सीसीटीवी फुटेज दिखाए तो उसने गुनाह कबूल कर दिया। इसके बाद पुलिस ने उससे गहनता से पूछताछ की।
जांच में सामने आई ये बात
प्रारंभिक जांच में पता चला है कि यादव लोगों को कॉन्ट्रेक्ट देने के बदले यह रिश्वत लेता था। यह रकम बतौर कमीशन ली जाती थी। कैश लेने के बाद यादव बेसमेंट में रखी अलमारी में इसे रखता था। बताया जाता है कि रिश्वत में वसूली गई रकम से वेदप्रकाश ने गोल्ड बिस्किट खरीदे।
लॉकर के रूप में अलमारी का इस्तेमाल करता था आरोपी
वेदप्रकाश योजना भवन की इस अलमारी को लॉकर के रूप में काम लेता था। पुलिस ने ज्वॉइंट डायरेक्टर वेद प्रकाश यादव को हिरासत में लेकर उसे भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के सौंप दिया है। बताया जा रहा है कि पूछताछ के बाद एसीबी रिपोर्ट दर्ज कर वेदप्रकाश यादव को गिरफ्तार करेगी।
